आई बाबा की पालकी
मोरे गरीब निबाज |
पुलकित मेरी आत्मा
धन्य-धन्य हुआ मैं आज ||
दिव्य है यह पालकी
हैं साईं बाबा महाराज |
साईं संग साईं पादुका
लक्ष्मी कलश विराज ||
सर धारूँ साईं पादुका
मन धारूँ सन्मार्ग |
शरणागति सुधामय लागे
मैं तो भया निहाल ||
मुकुट की लाज बाबा राखियो
नमन है बारम्बार |
मोरे सर सोहे ये पादुका
यही मुकुट हमार ||
अंग संग आप रहो साईं
मेरा संबल बढ़ता जाय |
मुझसे सबकुछ वैसा हो
जो सदा आपको भाय ||
परब्रह्म तेरा साथ न छूटे, चरण कमल मेरे माथ |
जय बाबा, जय सदगुरु देवा, जय जय साईंनाथ ||